Gold Price: अगर आप गोल्ड खरीदने का मूड बना रहे हैं। तो आपको अभी थोड़ा इंतजार करना चाहिए। बहराल बीते माह से सोने का दाम एक दायरे में धूम रहा है। वहीं अगस्त 2020 में गोल्ड की कीमत 56 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम का रिकॉर्ड अधिक था। इसके बाद काफी तेजी से गिरावट दर्ज की गई थी। जिससे अभी तक नही उभर पाया है।

आपको बता दें कि इस ग्लोबल बंदी (Global Recession) के कारण सोने की कीमतों में भारी गिरावट का अनुमान है। वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (WGC) के अनुसार, देश में अक्टूबर से दिसंबर के बीच सोने की खपत में बीते साल की तुलना में करीब एक चौथाई की गिरावट दर्ज की जा सकती है।

गावों में मांग में आई कमी: Gold Price

इस त्योहार के सीजन में बिक्री में काफी इजाफा दर्ज किया गया है। लेकिन जिस आंकडे की उम्मीद की जा रही थी। वहां तक सफलता नही मिली। गोल्ड की कीमत में गिरावट के पीछे का कारण काफी तेजी से बढ़ती मंहगाई मानी जा रही है। खासकर गावों में सोने की मांग कम हो सकती है। गांवों में लोग काफी बड़े पैमाने पर इस सीजन में जेवर खरीदते हैं।

आपको बता दें कि दुनिया में भारत सबसे ज्यादा सोने की खपत वाले देशों में दूसरे नंबर पर है। पहले नंबर पर चीन है। एक्सपर्ट की मानें तो इसकी मांग कम होने की वजह से कीमतों पर काफी प्रभाव पड़ रहा है। जो कि दो साल से ज्यादा समय में अपने निचले स्तर के करीब व्यापार कर रहे हैं।

6000 रुपये सस्ता हुआ सोना: Gold Price

इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन की साइट के अनुसार, 1 नवंबर को सर्राफा मार्केट में सोना सस्ता होकर 50,460 रुपये पर हो गया है। जो कि बीते माह की शुरुआत में 52 बजार पर पहुंच गया था। वहीं इस अगस्त 2020 में गोल्ड ने रिकॉर्ड 56 हजार रुपये के स्तर को छुआ था।

बता दें कि खुदरा मंहगाई दर में लगाताकर इजाफा दर्ज किया जा रहा है। इस सितंबर में देश की सालाना मंहगाई दर 7 फीसदी से ऊपर रही है। देश में सोने की दो-तिहाई मांग पर ग्रामीण क्षेत्रों से आती है। WGC की मानें तो दिसंबर तिमाही में देश की सोने की मांग बीते साल के 343.9 टन कम होकर करीब 250 टन रह सकता है। उन्होंने कहा कि यह गिरावट 2022 में भारत की टोटल गोल्ड की खपत लगभग 750 टन तक ला सकती है। जो कि बीते माह के 797.3 टन से 6 प्रतिशत कम है।

जबकि उपभोग्ता और सेंट्रल बैंक की मांग के दम पर अंतराष्ट्रीय स्तर पर गोल्ड की डिमांड कोरोना से पहले के स्तरों पर पहुंच गई है। सितंबर माह में सालाना आधार पर गोल्ड की मांग 28 प्रतिशत इजाफा होकर 1181 टन के स्तर पर हो गई है, और इस साल यानि 2022 में अभी तक मांग बीते साल के समान समय की तुलना में 18 प्रतिशत इजाफा हो गया है।

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