Business Idea: देश में लगातार नौकरियों के अवसर कम हो रहे हैं। इस कतारम से बड़ी संख्या में लोग खुद का बिजनेस स्टार्ट करने की तरफ रुख कर रहे हैं। हमें नए-नए स्टार्टअप देखने को मिले हैं। लोग पुराने कारोबार को नए अंदाज में शुरु कर अच्छा खासा लाभ कमा रहे हैं। ऐसे में यदि आप भी कोई कारोबार स्टार्ट करने की सोच रहे हैं लेकिन अभी तक स्टार्ट नही किया है। और सोच रहे हैं कि कौन सा बिजनेस करें। तो आपके लिए एक शानदार बिजनेस का आइडिया (Business Idea) लेकर आए हैं। आपको बता दें कि देश में खिलौने की इडस्ट्री (Toys Industries) को सरकार के द्वारा बढ़ावा दिया जा रहा है। इसलिए आप खिलौनों का कारोबार कर सकते हैं, और इसमें आप ट्वाइज का बिजनेस (Soft Toys Business) शुरु कर सकते हैं।

कर लें पूरी जानकारी:Business Idea

आपको बता दें कि किसी भी बिजनेस को स्टार्ट करने से पहले इस बिजनेस के बारे में गहन अध्यन कर लें और टॉयज की इंडस्ट्री और इसके बाजार के बारे में ठीक तरह से शोध कर लें। सॉफ्ट टॉयज बनाने के बिजनेस को अपने घर से शुरु कर सकते हैं। इस कारोबार को शुरु करने के लिए आपको लाखों रुपये का निवेश करना होगा।

बता दें कि टेडी बनाने के बिजनेस में की शुरुआत करने के लिए 40 हजार रुपये के छोटे तौर पर निवेश कर सकते हैं। इतने से इनवेस्टमेंट में आपको 50 हजार रुपये कर की कमाई कर सकते हैं। इस कारोबार की शुरुआत करने के लिए खासतौर पर दो मशीनों को खरीदना होगा। इसके साथ आप कच्चे माल की भी आवश्यकता पडे़गी।

सॉफ्ट टॉयज के प्रोडक्शन के लिए आपको एक हाथ से चलने वाली कपड़ा काटने वाली मशीन की आवश्यकता पडेगी। इसके साथ सिलाई मशीन की भी आवश्यकता पडेगी। बता दें कि हाथ से चलने वाली कपड़ा कट करने वाली मशीन की कामत 40 हजार रुपये है। वहीं आपको सिलाई करने के लिए 10 हजार रुपये की मशीन भी मिल जाएगी। और दूसरे कामों में करीब 10 हजार रुपये का खर्च आएगा।

कितनी होगी कमाई?Business Idea

अगर आप 15 हजार रुपये के कच्चे माल के सात कारोबार की शुरुआत करते हैं तो ऱॉ-मैटेरियल्स के साथ आराम से 100 टॉयज बना सकते हैं। एक टॉयज की बाजार में कीमक करीब 400 रुपये से लेकर 500 रुपये है। इसका मतलब आप आराम से 50 हजार रुपये तक की कमाई कर सकते हैं। बीते कुछ सालों में इस कारोबार में काफी गिरावट देखने को मिली है। बहराल इस बिजनेस में सफल होने के काफी चांस हैं।

खिलौनों का आयात हुआ कम

वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, बीते कुछ सालों के समय टॉयज के कारोबार से आयात पर देश की निर्भरता भी कम हुई है। जहां भारत ने फाइनेंशियल ईयर 2018-19 (FY19) के समय 304 मिलियन डॉलर से खिलौने का आयात (India’s Toy Import) भी किया गया था। वहीं यह अगले तीन सालों में यानी फाइनेंशियल ईयर 2021-22 (FY22) में कम होकर 36 मिलियन डॉलर पर पहुंच गया है इसका अर्थ है कि बीते तीन सालों के दौरान भारत का खिलौना आयात 88 फीसदी से अधिक कम हुआ है।

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