India-UK Free Trade Deal: भारत और ब्रिटेन के बीच फ्री ट्रेड एग्रीमेंट होने वाला था जो कि फिलहाल के लिए अटक गया है इस समझौते का इंतजार ब्रिटेन की स्कॉच-व्हिस्की कंपनी को था। दोनों देशों को उम्मीद थी की इस दिवाली में मुक्त व्यापार का समझौता हो जाएगा। लेकिन फिलहाल के लिए यह होता नजर नही आया है। इस कारण से ब्रिटेन की यह सबसे बड़ी स्कॉच-व्हीस्की कंपनी इस व्यौहार में भी मुनाफा नही कमा पाएगी। जिससे कंपनी को काफी लॉस का सामना करना पडे़गा।

तय हुई थी डेडलाइन:India-UK Free Trade Deal

ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने भारत के साथ बिजनेस के समझौते के लिए दिवाली की समय सीमा तया की थी। जबकि ब्रिटेन की नई व्यापार सचिव केमी बैडेनोट ने कुछ वक्त पहले कहा था कि उनका देश अब उस समय के लिए सीमा पर काम नही कर रहा है। उनके द्वारा यह कहा गया कि तारीख के बजाय डील पर ध्यान देना काफी सूझबूझ होगी।

ब्रिटेन के नए प्रशाशन के लिए तारीख भले ही कोई मायने नही रखती हो, लेकिन वहां के व्हीस्की कारोबार के लिए बेहद ही अहम है। क्योंकि कंपनी एक और दिवाली के दौरान सबसे अधिक लाभ कमाने से बच जाएगी। जिससे काफी नुकसान होगा।

इंपोर्ट का आंकड़ा:India-UK Free Trade Deal

आपको बता दें कि भारतीय व्हिस्की का उत्पादन स्कॉच व्हीस्की के उत्पादन से कुल मात्रा के मुकाबले 2.5 गुना से ज्यादा है। 2021 में भारत स्कॉच व्हिस्की का 8 वां सबसे बड़ा आयात करने वाला बाजार था और आकड़ों के मुताबिक दूसरा, बता दें कि 2021 में भारत ने 136 मिलियन से अधिक स्कॉच व्हिस्की की बोतलों का आयात किया था। वहीं 2022 में यह डेटा 95 मिलियन रहा था।

व्हिस्की प्रोडक्शन के लिए आवश्यक:

स्कॉच व्हिस्की एसोसिएशन के CEO कैंट मार्क केंट ने दोनों देशों के बीच हो रही बातचीत को एक जनरेशन मौके के तौर पर देखते हैं। उनका मानना है कि इससे स्कॉच के डीलर्स को देश में व्यापार करने के ज्यादा मौके मिलेगें। उनके द्वारा कहा गया कि व्यापार एक समझौते के साथ मंजूर होना चाहिए।

केंट ने यह भी कहाा कि स्कॉट व्हिस्की पर 150 फीसदी टैरिफ को काम करने के लिए भारत के साथ डील पाने ही कारोबार को टॉप इंटरनेशनल प्रायोरिटी है।

सुएला ब्रेवरमैन ने किया था विरोध:

ब्रिटेन की मौजूदा गृह मंत्री सुएला ब्रेवरमैन ने भारत और ब्रिटेन के बीच हो रहे मुक्त व्यापार की डील की कड़ी निंदा की थी। ब्रिटिश मैगजीन स्पेक्टेटर को दिए एक इंटरव्यू में गृह मंत्री सुएला ब्रेवरमैन ने कहा कि ब्रिटिश लोगों ने ब्रेग्जिट से हटने के लिए वोट नहीं किया था कि भारत के लोगों के लिए ब्रिटेन की सीमाएं इस प्रकार से खोल दी जाएं।

समझौता से क्या होगा:

आपको बता दें कि अगर यह डील हो जाती तो भारत सबसे बड़ा और सबसे महत्वकांक्षी मुक्त व्यापार डिल होगी। इस डील की सहायता से 2030 तक दोनों देशों के बीच बाइलेड्रिल बिजनेस दोगुना होने की उम्मीद है। भारत सरकार के आंकड़ों के मुताबिक, भारत और ब्रिटेन के बीच 2021-22 में टोटल बिजनेस 17 अरब डॉलर से ज्यादा का था।